**मनुष्य की सेहत के साथ खिलवाड़: हाइब्रिड टमाटरों का खतरा और उसकी गंभीरता**

आज की भागती-दौड़ती ज़िन्दगी में हर कोई अधिक मुनाफा कमाने और आसानी से चीज़ों को हासिल करने की होड़ में लगा है। इस लत ने हमें हमारी प्रकृति और सेहत से कितना दूर कर दिया है, इसका अंदाजा हम शायद अब नहीं लगा पा रहे। सबसे खतरनाक उदाहरण हाइब्रिड टमाटरों का है, जिनका इस्तेमाल बेताहाशा बढ़ा है। इस परिदृश्य में, हम यह भूल चुके हैं कि हमारी सेहत और प्राकृतिक संसाधन किस हद तक खतरे में हैं।
**स्वार्थ और मुनाफे की दौड़ में खोया हमारा प्राकृतिक आहार** हाइब्रिड टमाटरों की किस्म को अपनाकर किसानों और व्यवसायियों ने यह सोचा कि वे बेहतर उत्पादन और ज्यादा मुनाफा कमा सकते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि इसके कारण, हमने देशी टमाटरों की करीब 400 किस्मों को खो दिया है? ये देशी किस्में न केवल स्वाद में बेमिसाल होती थीं, बल्कि हमारे शरीर के लिए भी अत्यंत लाभकारी थीं। अब, जब हम इन्हें खो चुके हैं, तो क्या हम हाइब्रिड टमाटरों के साथ अपनी सेहत के खेल को समझ पा रहे हैं?
**प्राकृतिक संसाधनों का विनाश: एक भयावह सच** हाइब्रिड और कृत्रिम तरीके से उत्पादित फलों और सब्जियों का चलन सिर्फ टमाटरों तक ही सीमित नहीं है। हजारों-लाखों अन्य प्राकृतिक फल, सब्जियाँ और पेड़-पौधे नष्ट किए जा रहे हैं। यह सिलसिला इतना तेजी से बढ़ रहा है कि शायद अब हमें भविष्य में इन प्राकृतिक चीजों को देखना या खाना तो दूर, इन्हें उगाने का भी मौका नहीं मिलेगा। हमें यह समझने की आवश्यकता है कि जो कुछ हम आज लाभ के लिए कर रहे हैं, वह हमारे भविष्य और प्रकृति के लिए गंभीर खतरा बन सकता है। अगर हम अभी नहीं चेते तो आने वाली पीढ़ियों को हम सिर्फ कृत्रिम चीज़ों का ही स्वाद चखवा पाएंगे, और प्राकृतिक जीवन की कल्पना भी उनके लिए कठिन हो जाएगी।
**निष्कर्ष: हम अपनी अगली पीढ़ी के लिए क्या छोड़ रहे हैं?** यह समय है, जब हमें अपनी प्राथमिकताएँ बदलनी होंगी। हमें प्राकृतिक, देशी और जैविक उत्पादों की ओर लौटने की आवश्यकता है। यह न केवल हमारी सेहत के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि पृथ्वी और उसके संसाधनों के संरक्षण के लिए भी आवश्यक है। यदि हम आज कदम नहीं उठाते, तो शायद आने वाले समय में हमें अपनी गलती का अहसास तब होगा जब कुछ भी वापस नहीं मिल सकेगा।
~ सरिता के विचार ✍️