अंधभक्ति

guru, bhakti aur samaj kii vidambana
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गुरु, भक्ति और समाज की विडंबना

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इस संसार में किसी के जन्म-मरण से तब तक कोई फर्क नहीं पड़ता, जब तक कि उसके नाम पर व्यापार खड़ा न किया जा सके, कमाई का साधन न बनाया जा सके। यही कारण है कि वे गुरु, जिनके नाम पर अरबों-खरबों की संपत्ति खड़ी होती है, जिनके आश्रमों में राजनीति चमकती है, जिनकी शिक्षाओं…

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जब कोई साथ ना हो तब भी कोई साथ होता है
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जब अपने साथ छोड़ देते हैं तब परायों से सहयोग मिलता है

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सोशल मीडिया के समझदार, कर्मवादी और मेहनती लोगों ने मुझे अपनी फ्रेंडलिस्ट से बाहर निकाल दिया है। कारण पर चिंतन किया तो यही समझ में आया कि मैं उनकी तरह समझदार, कर्मवादी और मेहनती नहीं हूँ। मैं सोशल मीडिया पर दान और आर्थिक सहयोग मांग लेता हूँ। और मेहनती, कर्मवादी लोगों की नजर में दान…

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